‘महाभोज’ उपन्यास में अभिव्यक्त राजनीतिक चेतना Post navigation मानवजीवनसाफल्याय वेदमार्गःआधुनिक अवधी – प्रबन्ध काव्य में लोक-संस्कृति के बिम्ब (‘पारिजात’ तथा ‘ध्रुव’ के सन्दर्भ में)